चर्चित गोल्ड स्मगलिंग केस में रान्या के पति को HC से बड़ी राहत.

नई दिल्ली – उच्च न्यायालय (HC) ने मंगलवार को चर्चित गोल्ड स्मगलिंग केस में रान्या के पति को बड़ी राहत दी है। अदालत ने कहा कि रान्या के पति के खिलाफ पेश किए गए सबूत आरोपों को साबित करने के लिए पर्याप्त नहीं हैं। अदालत ने कहा कि अभियोजन पक्ष यह साबित करने में असफल रहा है कि रान्या के पति का इस स्मगलिंग मामले से कोई सीधा संबंध है। मामले का पूरा घटनाक्रम गोल्ड स्मगलिंग का यह मामला पिछले साल तब सामने आया था, जब सीमा शुल्क विभाग ने हवाई अड्डे पर एक बड़ी मात्रा में अवैध सोना जब्त किया था। जांच के दौरान रान्या का नाम सामने आया, जिसके बाद एजेंसियों ने उनके पति को भी जांच के दायरे में ले लिया था। जांच एजेंसियों का दावा था कि रान्या के पति ने इस तस्करी में आर्थिक मदद की थी और इसका मास्टरमाइंड होने का भी शक था। अदालत का फैसला अदालत ने अपने फैसले में कहा कि अभियोजन पक्ष ने जो सबूत पेश किए हैं, वे केवल संदेह के आधार पर हैं और इससे यह साबित नहीं होता कि रान्या के पति ने इस तस्करी में कोई भूमिका निभाई है। न्यायाधीश ने कहा, “सिर्फ पारिवारिक संबंधों के आधार पर किसी व्यक्ति को दोषी नहीं ठहराया जा सकता है। आरोपों की पुष्टि के लिए ठोस सबूतों की आवश्यकता होती है, जो इस मामले में मौजूद नहीं है।” रान्या के पति का बयान फैसले के बाद रान्या के पति ने कहा, “मैं शुरुआत से ही कह रहा था कि मेरा इस मामले से कोई लेना-देना नहीं है। अदालत ने आज मुझे न्याय दिया है। मैं अपने वकीलों और परिवार का शुक्रगुजार हूं, जिन्होंने इस मुश्किल घड़ी में मेरा साथ दिया।” जांच एजेंसी की प्रतिक्रिया इस फैसले के बाद जांच एजेंसी ने कहा कि वे अदालत के आदेश का सम्मान करते हैं, लेकिन वे अब भी इस मामले की जांच जारी रखेंगे। एजेंसी ने कहा कि वे फैसले की समीक्षा करने के बाद आगे की कार्रवाई पर विचार करेंगे। इस फैसले से रान्या और उनके परिवार को बड़ी राहत मिली है। मामले में आगे की कार्रवाई पर सभी की निगाहें टिकी हुई हैं।